01 नवंबर 2017

बुन्देलखण्ड का पहला अनाज बैंक स्थापित

जनपद के ख्यातिलब्ध अधिवक्ता स्व० कीरत सिंह सेंगर की कनिष्ठ पुत्री श्रीमती अनिला राणावत की प्रथम पुण्यतिथि पर आज, 01 नवम्बर 2017 को जनपद जालौन के उरई नगर में अनाज बैंक के शुभारम्भ किया गया. अनाज बैंक का सञ्चालन राष्ट्रीय स्तर पर विशाल भारत संस्थान, वाराणसी द्वारा किया जा रहा है. जनपद जालौन में अनाज बैंक का सञ्चालन स्व० कीरत सिंह सेंगर की वरिष्ठ पुत्री डॉ० अमिता सिंह द्वारा किया जा रहा है. इस अनाज बैंक के द्वारा विधवा, परित्यक्ता, तलाकशुदा, निर्धन महिलाओं को अनाज वितरित किया जायेगा. कोई भूखा न सोये का पवित्र सन्देश के साथ अनाज बैंक का आरम्भ 2015 में वाराणसी में किया गया था. इसके बाद अनाज बैंक की स्थापना दिल्ली, गोरखपुर में भी की गई. बुन्देलखण्ड में यह अपनी तरह का पहला अनाज बैंक है.



उरई में अनाज बैंक के शुभारम्भ के अवसर पर अनाज बैंक की निदेशक प्रियंका गांगुली ने बताया कि इस बैंक का उद्देश्य प्रत्येक व्यक्ति को भोजन उपलब्ध करवाना है. अनाज बैंक के द्वारा किसी भी तरह का दान अथवा सहानुभूति के रूप में अनाज का वितरण नहीं किया जा रहा है. इसके लिए अनाज देने वालों का और अनाज लेने वालों का खाता यहाँ बनाया गया है. जिसके सहारे पारदर्शिता बनाते हुए सभी को अनाज उपलब्ध करवाना है. अनाज बैंक की व्यवस्था निदेशक प्रीति पाण्डेय ने उपस्थित महिलाओं को बताया कि अनाज बैंक के लिए कोई भी व्यक्ति हिन्दू-मुस्लमान अथवा किसी भी धर्म से जुड़ा न होकर सिर्फ इन्सान है और हम सभी मिलकर इंसानियत को जीवित बनाये रखने का कार्य कर रहे हैं. आज यहाँ अनाज बैंक के शुभारम्भ का उद्देश्य बहुत पवित्र है और आशा की जा सकती है कि आज बीस महिलाओं को इससे लाभान्वित किया गया है, कल को यह संख्या बढ़कर सौ भी होगी, पांच सौ भी होगी. विशाल भारत संस्थान के संस्थापक डॉ० राजीव श्रीवास्तव का कहना था कि संस्था सिर्फ अनाज बैंक के द्वारा अनाज वितरण का कार्य ही नहीं करती है वरन समाज में विभिन मुद्दों पर जागरूकता लाने का कार्य भी करती है. इसके द्वारा गरीब बच्चों की शिक्षा व्यवस्था करना, गरीब, मजबूर महिलाओं को स्वावलंबी बनाये जाने का कार्य भी संस्था की तरफ से किया जाता है. संस्था से सम्बद्ध रितुश्री का कहना था कि संस्था के लिए सबसे बड़ी बात यह है कि इसके लिए किसी भी सरकारी संस्था से, एजेंसी से अनुदान नहीं लिया जाता है न ही किसी तरह की सहायता ली जाती है. संस्था के द्वारा संचालित अनाज बैंक के लिए पूरा सहयोग समाज के नागरिकों की तरफ से मिलता है. इसके लिए भी हम किसी तरह की धनराशि स्वीकार नहीं करते हैं बल्कि सभ्रांत नागरिकों से अनाज के रूप में ही सहायता प्राप्त करते हैं.




अनाज बैंक के शुभारम्भ के अवसर पर संस्था से सम्बंधित लोगों डॉ० अमिता सिंह के निर्देशन में बनी टीम के साथ जनपद के वरिष्ठ शिक्षाविद डॉ० आदित्य कुमार, विडो क्लब की अध्यक्ष श्रीमती कौशल्या राज एवं श्रीमती अनिला राणावत के पुत्र दुष्यंत सिंह राणावत और पुत्री पौरवी राणावत के कर-कमलों से बीस से अधिक निर्धन महिलाओं को अनाज वितरित किया. इससे पूर्व संस्था के पदाधिकारियों ने शहर की विभिन्न बस्तियों में सुभाष चंद्रा के साथ मिलकर भौतिक सत्यापन के द्वारा लगभग 250 आवेदनों में से प्राथमिकता के आधार पर 25 महिलाओं का आरम्भिक चयन किया. इन महिलाओं की पृष्ठभूमि, पारिवारिक संरचना, मासिक आय, स्वास्थ्य परीक्षण के आधार पर उनके कागजातों का सत्यापन करके अनाज बैंक में उनका खाता खोला गया. इस अवसर पर डॉ० अलका रानी पुरवार, डॉ० मंजू जौहरी, डॉ० शैलजा गुप्ता, डॉ० नीति चौहान, श्रीमती शशि सिंह, निशा सिंह, साधना, हर्षिता ठाकुर, राघवेन्द्र द्विवेदी, गणेश शंकर द्विवेदी, भूपेन्द्र पिंडारी, धर्मेन्द्र, डॉ० कुमारेन्द्र सिंह सेंगर आदि उपस्थित रहे. 



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