ब्लॉग के दो साथियों ने ई-मेल के द्वारा हमारे ब्लॉग से जुड़ने की फरमाइश की. उन मित्रों को धन्यवाद जिन्होंने हमसे जुड़ने की बात की. वैसे भी कहा गया है की एक से भले दो. यहाँ एक बात बताना चाहेंगे की अपने इस ब्लॉग को तो अपने विचारों के लिए सुरक्षित कर रखा है. हाँ, ब्लॉग के साथियों की भावनाओं का सम्मान करते हुए एक नया ब्लॉग "अड्डेबाजी-अड्डेबाजों की" नाम से बना दिया है. इसे http://addebaji.blogspot.com के साथ देखा जा सकता है।
इस ब्लॉग पर सभी मित्रों का स्वागत है, आइये मिल कर अड्डेबाजी की जाए. बस अपना नाम, ई-मेल, पता, फोन आदि हमें dr.kumarendra@gmail.com पर ई-मेल कर दे। मिलजुल कर बैठने का मजा ही कुछ और है.
यहाँ एक बात और भी बता दे की हमने पहले से ही http://sahitykar.blogspot.com तथा http://bundeli.blogspot.com नाम से दो ब्लॉग सहयोग की भावना से बना रखे हैं। इसमें साहित्य प्रेमी साथियों के लिए साहित्य-स्पंदन तथा बुंदेलखंड से प्रेम करने वाले साथियों के लिए बुंदेलखंड ब्लॉग है. अपनी-अपनी पसंद से आप लोग इन ब्लॉग पर हमारा साथ दे सकते हैं.
चलिए जानकारी आपको हो गई, अब आगे आपकी मर्जी. नमस्कार.
Jankaari mil gai. Ab bhejte hain. :) Shubhkamanayen.
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