स्वतंत्रता दिवस का आयोजन हर्षोल्लास के साथ पूरा देश मना रहा है. हर तरफ से फोटो, वीडियो दिखाई दे रहे हैं, जिनमें लोगों की ख़ुशी झलक रही है. इन्हीं वीडियो में से एक ऐसा वीडियो देखने को मिला जिसे देखकर एकबारगी ये विश्वास ही नहीं हो रहा है ये ध्वज फहराने वाले इसी देश के नागरिक हैं. किसी तरह का कोई आपत्तिजनक वीडियो नहीं देखने को मिला. कहीं कुछ ऐसा नहीं मिला कि स्वतंत्रता दिवस पर किसी और देश का ध्वज फहरा दिया गया हो. ऐसा भी नहीं हुआ कि अपने राष्ट्रीय ध्वज को उल्टा फहरा दिया गया हो, जैसा कि अक्सर कई जगहों पर होने की खबरें विगत वर्षों में मिलती रही हैं. ऐसा वीडियो भी नहीं था जिसमें राष्ट्रगान का विरोध किया गया हो अथवा उसके गायन से इनकार किया हो, ऐसा भी विगत वर्षों में बहुत सी जगहों पर होता रहा है.
इस बार एक वीडियो देखने को मिला जिसमें एक
राजनैतिक दल के द्वारा ध्वजारोहण किया गया. इसके पश्चात् उनके नेताओं द्वारा पूरे
जोश के साथ राष्ट्रगान का गायन शुरू हुआ. आरंभिक दो-तीन पंक्तियों के बाद किसी के
मुँह से राष्ट्रगान की पंक्तियाँ न उभरीं. सब के सब दो-तीन-चार गलत-गलत शब्द गाते
हुए खामोश हो गए. बाद में सभी के द्वारा अजब-अजब सी आवाजों को निकाला जाता रहा और राष्ट्रगान
का अंत जय हे, जय हे के साथ कर दिया गया. ऐसा नहीं कि
ध्वजारोहण के समय वहां दो-तीन लोग ही उपस्थित थे और उनको पूरा राष्ट्रगान नहीं
आया. उस अवसर पर वहाँ अच्छी-खासी भीड़ जमा थी और यह आश्चर्य का विषय है कि उस भीड़
में किसी को पूरा राष्ट्रगान याद नहीं था. यह शर्म की बात है.
फिलहाल, ऐसे बहुत से
वीडियो आते रहते हैं जहाँ प्रेंक के नाम पर अजीब-अजीब सी हरकतें करते युवा दिखते
हैं, उन्हीं अजीब हरकतों के बीच कई बार इस तरह के मौके भी
दिख जाते हैं जबकि उन युवाओं को देश से सम्बंधित सामान्य ज्ञान की जानकारी नहीं
होती है. कुछ ऐसा ही ध्वजारोहण के अवसर पर दिखाई पड़ना दुखद भी है, शर्मनाक भी है.
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