27 नवंबर 2008

कहाँ छुपे हो राज ठाकरे??????

कल देर रात से एक ख़बर सभी चैनलों पर सभी के दिल की धड़कन को रोके है......................................

  • मुंबई में देश का सबसे बड़ा आतंकी हमला...................
    अभी तक हुए हमले में मारे गए लोगों की संख्या.............(ये संख्या बताने में हम असमर्थ हैं क्योंकि ये लगातार बदती ही जा रही है)
    हमले में घायल हुए लोग ..................... (
    इसका भी हल मृत लोगों जैसा ही है, लगातार बढ़ रहे हैं)
  • आतंकवादी पाकिस्तान के हैं..................ऐसा उनके पास से मिले मोबाइल और कल बरामद हुए एक हैण्ड ग्रेनेड से ज्ञात हुआ..............

इसके अलावा और भी जो जानकारी है वो तो आपको समाचारों से पता चल ही रही होगी.................इस पोस्ट में ऐसा कुछ नहीं है जो इस आतंकी वारदात के बारे में बता सके. इत्तेफाक देखिये, आज सोचा था की कुछ बाल-साहित्य पर लिखा जायेगा क्योंकि यही एक ऐसा विषय है जिस पर कम से कम लिखा जा रहा है पर देखिये विडम्बना कि लिखना पड़ा कुछ अलग...................

फिलहाल पोस्ट पर आते हैं जैसा कि आप शीर्षक देख कर ही समझ गए होंगे कि ये अलग तरह की पोस्ट है........... वेंडरों को मारने वाले, टेक्सियों को तोड़ने और उनके चालकों को मारने वाले, निर्दोष, निरीह परीक्षार्थियों की बेरहमी से पिटाई करने वाले, उत्तर भारतीयों को अपना निशाना बनाने वाले, भैया लिखा केक काट कर अपनी नफ़रत दर्शाने वाले, आमची मुंबई का नारा बुलंद करने वाले, मुंबई हमारी है किसी के बाप की नहीं के पोस्टर लगाने वाले........................और भी बहुत कुछ मुंबई के लिए और उत्तर भारतीयों के विरोध में करने वाले राज ठाकरे और उनके कार्यकर्ता अब कहाँ हैं???????????????

  • मनसे कहाँ है????????
  • अब उनकी मुंबई क्या उनकी मुंबई नहीं है???????
  • सैकड़ों की संख्या में मरने वालों के लिए उनकी आंखों में आंसू नहीं हैं???????
  • शहीद होने वाले पुलिस और जंग करती सेना के साथ गोली खाने के लिए उनके सीने कहाँ हैं??????????
  • इसी तरह वे लोग कहाँ हैं जो सोते-जागते पाकिस्तान प्रेम का राग आलापते हैं???????
  • वे लोग अब क्या कहेंगे जो इस्लामिक आतंकवाद को हिन्दुओं के दिमाग की उपज बताते हैं????????
  • वे लोग अब खामोश क्यों हैं जो अकारण ही कांग्रेस को शांतिप्रियता लाने वाली सरकार बताते हैं??????
  • इस तरह से हुए हमले के लिए कौन जिम्मेवार है???????
  • महाराष्ट्र सरकार अब खामोश क्यों है????????
  • आतंकवादी कितनी आसानी से मुंबई में घुस आए और सुरक्षा एजेंसी किस अंधेरे में खोईं रहीं????

बहुत कुछ है इस पर कहे जाने को पर अभी मौका नहीं है.........................अब देखना है कि पकडे कितने आतंकवादी जाते हैं????? हमारे देशवासी किस हद तक अपने लोगों को खोते हैं?????? सरकार (केन्द्र और राज्य की) किस हद तक तत्परता दिखाती हैं??????? सवाल बहुत हैं पर अभी जवाब का इंतज़ार नहीं अभी तो ग़म के आंसू हैं, सिसकियाँ हैं, रुंदन है............

8 टिप्‍पणियां:

  1. राज ठाकरे जैसे लोग तो गीदड़ है इनके पास गीदड़ भभकी के आलावा है ही क्या | अब छुपे बेठे होंगे किसी गुफा में |

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  2. मुझे उम्मिद है कि राज और उसके चुहे डर से बचने के लिये बिहार और युपी के भैया लोगो के पीछे छुपे होंगें। वो और उसका लिगल एडवाइजर स्पीच को रिवियु कर रहे होंगें. खोज रहे होंगें कि इसमे कैसे बिहार युपी का मुद्दा लाया जाए.

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  3. राज ठाकरे भी लालू यादव और अमरसिंह के साथ छुपा हुआ है. ये भी तो चाराचोर और दलालों से क्या कम है?

    थू है उन लोगों के ऊपर जो इस समय भी यूपी और मराठी की बात उठा रहे हैं

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  4. स्ताभ्द हूँ दुखी और शोकाकुल हूँ ....

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  5. राज ठाकरे जैसे गिरे हुए नेताओं का नाम सुन कर बिहार और मराठि से ज्यादा ख्याल नहीं आता है. उसकि औकात बस उसी स्तर की है। आतंकवाद जैसे बडे मुद्दा उसके औकात कि बात नहीं है।

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  6. chodiye bhee bhai, sankat ke samay me mardon ko awaz lagayee jatee hi, Raj jaise kayar-deshdrohiyon ko nahi.
    hinustan jindawaad

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  7. राज ठाकरे जैसे रीढ़विहीन नेता अगर राजनीति में हैं तो केवलमात्र अपने क्षुद्र स्वार्थ एवं महत्वाकांक्षाओ की पूर्ती हेतु.
    आज जरुरत है एक ऐसे दृड़ इच्छाशक्तियुक्त नेतृत्व की,जो कि दलगत राजनीति से ऊपर उठकर कठोर निर्णय ले सके.अन्यथा इस देश का भगवान ही मालिक है (शायद वो भी ईंकार कर दे)

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  8. कुमारेन्द्र जी, कल से आपकी पोस्ट पर आना टाल रहा था, भला गीदड़ को शेर बना कर क्यों महिमामंडित किया जाय ?
    हिज़ड़े को हिज़ड़ा कहते रहिये, वह अपना चरित्र बदल कर भला मर्दानगी कैसे अख़्तियार कर लेगा ? इनकी हरकतों को सह जाना और देशद्रोह का मुकदमा कायम न कर पाना आमची मुंबई के इस गीदड़ को शेर बना रही है ।
    कृपया उनकी महिमा न बढ़ायें ! लानतें तो आपने चुन चुन कर भेजी हैं, पर वह अपने खुशामदियों के मध्य इतरा रहे होंगे .."देखा, अब इनको मेरी याद आ रही है !"

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