14 जुलाई 2011

अभी हम अपनों की लाशें उठाने को तैयार हैं




मुम्बई में तीन लगातार धमाके और कईयों की मृत्यु, कई घायल। अब शुरू हुई नेताओं की जुबानदराजी। घटना का पोस्टमॉर्टम, बम को लगाने वालों का अंदाज और कार्यवाही करने का आश्वासन।

चित्र गूगल छवियों से साभार


घटना ऐसी हुई है कि जिस पर बयानवाजी कम और कार्यवाही ज्यादा होने की आवश्यकता है। बात ऐसी है जिस पर अफसोस कम और शर्म जताने की आवश्यकता ज्यादा है। हम 26/11 के मुम्बई हमले के बाद से भी कुछ सीख लेने को तैयार नहीं हुए।

आइये अब हम तैयार करें अपने आपको वार्ताओं के अगले दौर के लिए। हम तैयार करें तालियाँ पीटने को मैत्री क्रिकेट मैच के लिए। सजा-सँवार लें खुद को सीमा पर मोमबत्तियाँ जलाने-लगाने के लिए। तैयार करें अपने आपको सरकारी आश्वासनों के लिए। तैयार करें खुद को और अपने परिवार को अगले किसी आतंकवादी हमले के लिए। तैयार करें स्वयं को फिर अपनों की लाशें उठाने के लिए, उनकी मौत पर आँसू बहाने के लिए।

क्या आप तैयार हैं?



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